अच्छा जो ख़फ़ा हम से हो तुम ऐ सनम अच्छालो हम भी न बोलेंगे ख़ुदा की क़सम अच्छामश्ग़ूल क्या चाहिए इस दिल को किसी तौर;ले लेंगे ढूँढ और कोई यार हम अच्छागर्मी ने कुछ आग और ही सीने में लगा दी;हर तौर घरज़ आप से मिलना है कम अच्छाअग़ियार से करते हो मेरे सामने बातेंमुझ पर ये लगे करने नया तुम सितम अच्छाकह कर गए आता हूँ, कोई दम में मैं तुम पास;फिर दे चले कल की सी तरह मुझको दम अच्छा;इस हस्ती-ए-मौहूम से मैं तंग हूँ 'इंशा'वल्लाह के उस से दम अच्छा
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