एक भिखारी ने एक घर के दरवाजे पर
दस्तक
दी। एक 37-38 साल की महिला ने
दरवाज़ा खोला।
भिखारी: "एक रोटी दे दो।"
महिला: "शर्म नहीं आती, इतने हट्ठे- कट्ठे
हो, कुछ काम-धाम क्यों नहीं करते?"
भिखारी: "मैडम, आप
भी तो इतनी सुन्दर
गोरी-चिट्टी हैं, गजब का फ़िगर है,
उम्र भी ज्यादा नहीं है। आप मुंबई जाकर
हीरोइन क्यों नहीं बन जातीं?"
महिला: "ज़रा ठहरो, मैं अभी तुम्हारे
लिए
हलवा-पूड़ी बना के लाती हूँ।"