अच्छी सूरत नज़र आते ही मचल जाता हैअच्छी सूरत नज़र आते ही मचल जाता हैकिसी आफ़त में न डाले दिल-ए-नाशाद मुझे
कभी दोस्ती कहेंगे कभी बेरुख़ी कहेंगेकभी दोस्ती कहेंगे कभी बेरुख़ी कहेंगेजो मिलेगा कोई तुझसा उसे ज़िन्दगी कहेंगेतेरा देखना है जादू तेरी गुफ़्तगू है खुशबूजो तेरी तरह चमके उसे रोशनी कहेंगे
फिर न सिमटेगी अगर दोस्ती बिखर जायेगी!फिर न सिमटेगी अगर दोस्ती बिखर जायेगीज़िन्दगी जुल्फ नहीं जो फिर से संवर जायेगीजो ख़ुशी दे तुम्हें थाम लो दामन उसकाज़िन्दगी रो कर नहीं हंस कर गुज़र जायेगी
यूँ ही रखते रहे बचपन से दिल साफ़ हम अपनायूँ ही रखते रहे बचपन से दिल साफ़ हम अपना;पता नहीं था कि कीमत तो चेहरों की होती है दिल की नहीं.
उम्र-ऐ-जवानी फिर कभी ना मुस्करायी बचपन की तरहउम्र-ऐ-जवानी फिर कभी ना मुस्करायी बचपन की तरहमैंने साइकिल भी खरीदी, खिलौने भी लेके देख लिए