दीदार की 'तलब' हो तो नज़रे जमाये रखना 'ग़ालिब'दीदार की 'तलब' हो तो नज़रे जमाये रखना 'ग़ालिब'क्युकी, 'नकाब' हो या 'नसीब'... सरकता जरुर है
कितने अरमानों को दफनाये बैठा हूँकितने अरमानों को दफनाये बैठा हूँकितने ज़ख्मों को दबाये बैठा हूँमिलना मुश्किल है उनसे इस दौर मेंफिर भी दीदार की आस लगाये बैठा हूँ
चंद साँसें बची हैं आखिरी बार दीदार दे दोचंद साँसें बची हैं आखिरी बार दीदार दे दोझूठा ही सही एक बार मगर तुम प्यार दे दोज़िन्दगी वीरान थी और मौत भी गुमनाम ना होमुझे गले लगा लो फिर मौत मुझे हजार दे दो
आपके दीदार को निकल आये हैं तारेआपके दीदार को निकल आये हैं तारेआपकी खुशबु से छा गई हैं बहारेंआपके साथ दिखते हैं कुछ ऐसे नज़ारेकि चुप-चुप के चाँद भी बस आप ही को निहारे
चंद साँसे बची हैं आखिरी बार दीदार दे दोचंद साँसे बची हैं आखिरी बार दीदार दे दोझूठा ही सही एक बार मगर तुम प्यार दे दोजिंदगी वीरान थी और मौत भी गुमनाम ना होमुझे गले लगा लो फिर मौत मुझे हजार दे दो