लाइलाज थे हम

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लाइलाज थे हम, इलाज़ किसी डॉक्टर के पास न था
इश्क का रोग था ए दोस्त
माँ की चप्पल से ही आराम आ गया

This is a great आराम पर शायरी. If you like किसी की चाहत शायरी then you will love this. Many people like it for चप्पल पर शायरी. Share it to spread the love.

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