लिखूं कुछ आज यह वक़्त का तकाजा है

SHARE

लिखूं कुछ आज यह वक़्त का तकाजा है
मेरे दिल का दर्द अभी ताजा-ताजा है
गिर पड़ते हैं मेरे आंसू मेरे ही कागज पर
लगता है कि कलम में स्याही का दर्द ज्यादा है

This is a great दर्द शायरी 2 लाइन. If you like मेरे खुदा शायरी then you will love this. Many people like it for मेरे दुश्मन शायरी. Share it to spread the love.

SHARE