चाहता तो हूँ कि हर रोज़ की सुबह तुझे अनमोल खज़ाना भेजूं SHARE FacebookTwitter चाहता तो हूँ कि हर रोज़ की सुबह तुझे अनमोल खज़ाना भेजूं; पर मेरे दामन में दुआओं की सिवा कुछ भी नहीं। शुभ दिवस।More SHARE FacebookTwitter
सुबह सुबह ज़िन्दगी कि शुरुआत होती है; किसी अपने से बात हो तो खास होती है; हंस.......Read Full Message