मालूम नहीं मंज़िल खुद मुझे अपनीमालूम नहीं मंज़िल खुद मुझे अपनीकदम रुक जायेंगे खुद, सफर जहाँ खत्म होगातुम्हें याद न करूँ ऐसा पल न कभी आयेभूल जाऊं जिस दिन मैं तुम्हें, वो दिन आखिरी हो जाये
बड़ी तब्दीलियां लायें हैं हम अपने आप मेंबड़ी तब्दीलियां लायें हैं हम अपने आप मेंपर तुम्हारी याद में रहने की आदत अब भी बाकी है
हर वक़्त तेरी यादें तडपाती हैं मुझेहर वक़्त तेरी यादें तडपाती हैं मुझेआखिर इतना क्यों ये सताती हैं मुझेइश्क तो किया था तुमने भी शौंक सेतो क्यों नहीं यह एहसास दिलाती हैं तुझे