चल रहे है जमाने में रिश्वतो के सिलसिलेचल रहे है जमाने में रिश्वतो के सिलसिलेतुम भी कुछ ले-दे कर, मुझसे मोहब्बत कर लो..
कभी इतना मत मुस्कुराना की नजर लग जाए जमाने कीकभी इतना मत मुस्कुराना की नजर लग जाए जमाने कीहर आँख मेरी तरह मोहब्बत की नही होती
हम जमाने में यूँ ही बेवफ़ा मशहूर हो गये 'फराज'हम जमाने में यूँ ही बेवफ़ा मशहूर हो गये 'फराज'हजारों चाहने वाले थे किस-किस से वफ़ा करते
सच कहते हैं लोगसच कहते हैं लोग, इश्क़ पर जोर नहींझुके जमाने के आगे, इश्क़ कमजोर नहींयूँ तो बसते हैं हसीं लाखों इस ज़मीं परमगर इस जहान में तुमसे बढ़कर और नहीं
करोगे याद गुजरे जमाने कोकरोगे याद गुजरे जमाने कोतरसोगे हमारे साथ एक पल बिताने कोफिर आवाज़ दोगे हमे वापिस बुलाने कोऔर हम कहेंगे दरवाजा नहीं है कबर से बाहर आने को