एक पल में ज़िन्दगी भर की उदासी दे गयाएक पल में ज़िन्दगी भर की उदासी दे गयावो जुदा होते हुए कुछ फूल बासी दे गयानोच कर शाखों के तन से खुश्क पत्तों का लिबासज़र्द मौसम बाँझ रुत को बे-लिबासी दे गया
उदासी तुम पे बीतेगी तो तुम भी जान जाओगे किउदासी तुम पे बीतेगी तो तुम भी जान जाओगे किकितना दर्द होता है नज़र अंदाज़ करने से
आज यह कैसी उदासी छाई है!आज यह कैसी उदासी छाई हैतन्हाई के बादल से भीगी जुदाई हैरोया है फिर मेरा दिलजाने आज किसकी याद आई है