ले चला जान मेरीले चला जान मेरी..ले चला जान मेरी रूठ के जाना तेराऐसे आने से तो बेहतर था न आना तेराअपने दिल को भी बताऊँ न ठिकाना तेरासब ने जाना जो पता एक ने जाना तेरातू जो ऐ ज़ुल्फ़ परेशान रहा करती हैकिस के उजड़े हुए दिल में है ठिकाना तेराये समझ कर तुझे ऐ मौत लगा रखा हैकाम आता है बुरे वक़्त में आना तेराअपनी आँखों में भी कौँध गई बिजली सीहम न समझे कि ये आना है कि जाना तेरा'दाग़' को यूँ वो मिटाते हैं ये फ़र्माते हैंतू बदल डाल हुआ नाम पुराना तेरा
यूं न मिल मुझ से यूं न मिल मुझ से ...यूं न मिल मुझ से ख़फ़ा हो जैसे;साथ चल मौज-ए-सबा हो जैसे;लोग यूं देख के हंस देते हैं;तू मुझे भूल गया हो जैसे;इश्क़ को शिर्क की हद तक न बढ़ा;यूं न छुप हम से ख़ुदा हो जैसे;..मौत भी आई तो इस नाज़ के साथ;मुझ पे अहसान किया हो जैसे