हर किसी को खुश रख सकूं वो तरीका मुझे नही आता जो मै नही हूं वैसे दिखने सलीकाहर किसी को खुश रख सकूवो तरीका मुझे नही आतजो मै नही हूं वैसे दिखनसलीका मुझे नहीं आतदिल में कुछ और जुबांपर कुछ औये बाजीगरी का कमाल मुझे नही आतए प्रभु बस इतनी शौहरत बक्शना तमेरे नाम को.के जिसके भी लबो पे आए मुस्कराहट के साथ आए
मुझको एक बार:मुझको एक बारमुझको एक बार आजमाते तो सहीवो मेरी बज़्म में आते तो सहीमैंने रखा था सर-ए-शाम से घर को सजाकरतुम न रुकते एक पल को आते तो सहीआपकी खातिर आपकी खुशियों की खातिरखुद भी हो जाता नीलाम, बताते तो सहीयकीनन आपके हिस्से में रोशनी होतीशम्म-ए-वफ़ा दिल में एक बार जलाते तो सहीमैं भी इंसान हूँ पत्थर नहीं, क्यूँ ठुकरायाखुद हो जाता टुकड़े-टुकड़े बताते तो सही
दिल को जब अपने गुनाहों का ख़याल आ जायेगादिल को जब अपने गुनाहों का ख़याल आ जायेगासाफ़ और शफ्फ़ाफ़ आईने में बाल आ जायेगाभूल जायेंगी ये सारी क़हक़हों की आदतेंतेरी खुशहाली के सर पर जब ज़वाल आ जायेगामुसतक़िल सुनते रहे गर दास्ताने कोह कनबे हुनर हाथों में भी एक दिन कमाल आ जायेगाठोकरों पर ठोकरे बन जायेंगी दरसे हयातएक दिन दीवाने में भी ऐतेदाल आ जायेगाबहरे हाजत जो बढ़े हैं वो सिमट जायेंगे ख़ुदजब भी उन हाथों से देने का सवाल आ जायेगा