हीरों की बस्ती में हमने कांच ही कांच बटोरे हैं SHARE FacebookTwitter हीरों की बस्ती में हमने कांच ही कांच बटोरे हैंकितने लिखे फ़साने, फिर भी सारे कागज़ कोरे हैMore SHARE FacebookTwitter Tagsहीर रांझा शायरी
Hasrat hai sirf yaar tumhe pane ki, aur koi khawahish nahi is dewane ki, shikwa.......Read Full Shayari