चीखें भी यहाँ गौर से सुनता नहीं कोई SHARE FacebookTwitter चीखें भी यहाँ गौर से सुनता नहीं कोईअरे, किस शहर में तुम शेर सुनाने चले आयेफ़राMore SHARE FacebookTwitter Tagsशेरो शायरी दोस्ती