ले चला जान मेरी

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ले चला जान मेरी..
ले चला जान मेरी रूठ के जाना तेरा
ऐसे आने से तो बेहतर था न आना तेरा
अपने दिल को भी बताऊँ न ठिकाना तेरा
सब ने जाना जो पता एक ने जाना तेरा
तू जो ऐ ज़ुल्फ़ परेशान रहा करती है
किस के उजड़े हुए दिल में है ठिकाना तेरा
ये समझ कर तुझे ऐ मौत लगा रखा है
काम आता है बुरे वक़्त में आना तेरा
अपनी आँखों में भी कौँध गई बिजली सी
हम न समझे कि ये आना है कि जाना तेरा
'दाग़' को यूँ वो मिटाते हैं ये फ़र्माते हैं
तू बदल डाल हुआ नाम पुराना तेरा

This is a great मेरी खामोशी शायरी. If you like मेरी जिंदगी शायरी then you will love this. Many people like it for मेरी जिन्दगी शायरी.

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